विश्वायोग्य यीशु
विश्वायोग्य यीशु, भरोसेमंद तू रहा
जो कुछ तूने कहा था, उसे पूरा भी तूने किया
धन्यवाद हर दिन, शुक्रिया हर समय
आभारी हैं हर बात में, शब्द भी कम पड़ जाते
धन्यवाद हर दिन, शुक्रिया हर समय
आभारी हैं हर बात में, कैसे हम वर्णन करें
राहों को सरल बनाया, बंद दरवाजों को है खोला
नए रास्तों से लिए चला, आग में से तूने निकाला
निर्बलता में तू है मेरा बल, निर्धनता में मेरा धन
निराशा में मेरी आशा तू, दुविधा में दिशा बना
कदमों को स्थिर तू करेगा, हाथों को तू ही थामेगा
आंखों ने जो नहीं देखा, ऐसे अद्भुत काम तू करेगा
